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Uttarkashi Tunnel Accident: बीड़ी की तलब, 5 मिनट का ब्रेक और तेज आवाज से गिर गई चट्टान... उत्तरकाशी टनल हादसे में ऐसे बची मजदूर की जान

झारखंड के रहने वाले 40 साल के मदन सिंह हादसे के वक्त सिल्क्यारा सुरंग में ड्यूटी कर रहे थे. इस दौरान उनको बीड़ी पीने की तलब लगी और वो सुरंग से बाहर आ गए. जब वो बीड़ी पीकर लौटने वाले ही थे, तभी चट्टान धंस गई.

उत्तरकाशी में टनल हादसे में बीड़ी की तलब से एक मजदूर की जान बच गई. उत्तरकाशी में टनल हादसे में बीड़ी की तलब से एक मजदूर की जान बच गई.

स्मोकिंग जानलेवा है. स्मोकिंग करने वाले लोगों को कई बीमारियां जकड़ लेती हैं. किसी को भी स्मोकिंग नहीं करनी चाहिए. लेकिन उत्तराखंड में बीड़ी पीना एक मजदूर के लिए वरदान साबित हुआ. स्मोकिंग की तलब की वजह से उत्तरकाशी के टनल हादसे में एक मजदूर की जान बच गई. दरअसल 40 साल के मदन सिंह सिल्क्यारा सुरंग में नाइट ड्यूटी कर रहे थे. ये 12 घंटे की शिफ्ट शनिवार की रात 8 बजे से शुरू हुई थी. इस दौरान मदन सिंह को बीड़ी की तलब लगी. उन्होंने 5 मिनट का ब्रेक लिया और सुरंग से बाहर निकल गए. उनकी इस आदत ने उनकी जान बचा ली. टनल में उस समय उनके साथ 44 साथी काम कर रहे थे.

मदन ने बताई आंखों देखी-
झारखंड के रहने वाले मदन सिंह ने एक छोटा सा ब्रेक लिया और सुरंग के मुहाने पर बैठकर बीड़ी पीने लगे. बीड़ी खत्म होने वाली थी और उनको सुरंग में काम करने लौटना था. लेकिन ऊपर वाले को ये मंजूर नहीं था. मदन अभी सुरंग में जाने की सोच रहे थे तभी तेज आवाज के साथ चट्टान धंस गई. मदन सिंह ने बताया कि मैंने बीड़ी करीब-करीब खत्म कर ली थी और काम करने के लिए सुरंग में जाने वाला था. तभी मैंने मलबे के गिरने की आवाज सुनी. मैंने देखा कि सुरंग की छत से एक विशाल चट्टान टूटकर गिर रही है. मैं जैसे ही सुरंग के मुहाने की तरफ भाग, सैकड़ों टन मलबा नीचे गिर गया. इससे सुरंग कुछ मीटर की दूरी पर बंद हो गई.

साथियों के लिए प्रार्थना कर रहे हैं मदन-
मदन अपने सहयोगियों की सुरक्षित वापस आने की प्रार्थना कर रहे हैं. वो कहते हैं कि जिस जगह दूसरे मजबूर फंसे हैं, वहां बिजली और पानी की पर्याप्त आपूर्ति है. उन्होंने बताया कि उनको खाने और ऑक्सीजन की जरूरत होगी. उन्होंने बताया कि सुरंग ढहने से पहले 4 दूसरे  लोग भी बचने में कामयाब रहे.

टनल में फंसे हैं 40 मजदूर-
उत्तराखंड के उत्तरकाशी में सिल्क्यारा-बड़कोट सुरंग में पिछले 3 दिनों से 40 मजदूर फंसे हैं. उनको निकालने की कोशिशें की जा रही हैं. लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन चल रहा है. इस दौरान ड्रिलिंग मशीन खराब होने से रेस्क्यू ऑपरेशन प्रभावित हुआ है. सुरंग के अंदर 900 मिमी पाइप लगाकर रास्ता बनाने की कोशिश की जा रही है. अधिकारियों का कहना है कि सुरंग में फंसे लोग सुरक्षित हैं और उनको ट्यूबों के जरिए ऑक्सीजन, पानी, भोजन के पैकेट और दवाइयां उपलब्ध कराई जा रही हैं.

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