मशहूर पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला (Sidhu Moose Wala) की हत्या में वॉन्टेड अपराधी गोल्डी बरार के खिलाफ इंटरपोल ने रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया है. सिद्धू मूसेवाला की पिछले महीने गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. पोस्टमार्टम रिपोर्ट के मुताबिक मूसेवाला के शरीर में 19 गोलियां मारी गई थीं. इस मर्डर की जिम्मेदारी कनाडा में बैठे गैंगस्टर गोल्डी बरार ने ली थी. इंटरपोल (INTERPOL) ने गैंगस्टर सतिंदरजीत सिंह उर्फ गोल्डी बरार के खिलाफ रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया है.
क्या होता है रेड कॉर्नर नोटिस?
रेड कॉर्नर नोटिस (Red Corner Notice) को आधिकारिक भाषा में रेड नोटिस (Red Notice) कहा जाता है. कोई भी अपराधी पुलिस और जांच एजेंसियों से बचने की कोशिश में दूसरे देश में भाग सकता है. रेड कॉर्नर नोटिस ऐसे अपराधियों के बारे में दुनियाभर की पुलिस को सचेत करता है.
इंटरपोल एक अंतरराष्ट्रीय पुलिस संगठन है. इस वक्त दुनिया के 192 देश इस संगठन के सदस्य हैं. इंटरपोल के सदस्य देश ही इंटरपोल को किसी वांछित अपराधी के खिलाफ रेड नोटिस जारी करने के लिए कह सकते हैं. सभी रेड नोटिस के अनुरोध की जांच INTERPOL के एक विशेष टास्क फोर्स द्वारा की जाती है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि यह उनके नियमों के अनुरूप है.
अगर एक बार किसी अपराधी के खिलाफ रेड कॉर्नर नोटिस जारी कर दिया गया है और इसके बाद जांच एजेंसी उस शख्स या घटना से जुड़े नए और प्रासंगिक तथ्य इंटरपोल के सामने रखती तो टास्क फोर्स इस मामले की फिर से जांच करती है. इंटरपोल के मुताबिक इस वक्त लगभग 69,270 लोगों को रेड कॉर्नर नोटिस जारी किए हैं, जिनमें से 7,500 सार्वजनिक हैं. 2021 में इंटरपोल ने 10,776 रेड नोटिस जारी किए.
किसे जारी किया जाता है रेड कॉर्नर नोटिस?
रेड कॉर्नर नोटिस किसी देश से भागे हुए ऐसे शख्स को ढूंढने के लिए जारी किया जाता है, जिसके ऊपर कोई आपराधिक मामला दर्ज हो. रेड नोटिस अंतरराष्ट्रीय गिरफ्तारी का वारंट नहीं होता है. रेड कॉर्नर नोटिस जारी होने का मतलब यह नहीं है कि वह व्यक्ति दोषी ही है. ये दुनियाभर के देशों को उस शख्स के अपराध की जानकारी देता है. रेड कार्नर नोटिस के जरिए पकड़े गए आरोपी को उस देश में भेज दिया जाता है जहां उसने अपराध किया होता है. रेड नोटिस तभी जारी किया जा सकता है जब कानून की नजर में वह अपराध गंभीर हो.
इन मामलों में नहीं जारी हो सकता है रेड कॉर्नर नोटिस
इंटरपोल के Rules on the Processing of Data (RPD के अनुच्छेद 83 में रेड नोटिस जारी किए जाने से जुड़ी कुछ खास शर्तों का जिक्र है.
रेड नोटिस केवल उन्हीं मामलों में जारी किया जा सकता है जो गंभीर अपराध की कैटेगरी में आते हैं. इस तरह के अपराधों के लिए रेड नोटिस जारी नहीं किए जाते, अगर...
- किन्हीं सांस्कृतिक नियमों से जुड़े विवादित मसले को लेकर तमाम देशों ने विवादित मुद्दे उठाए हों, या
- पारिवारिक या निजी मसले, या फिर
- ऐसा अपराध जो किसी प्रशासनिक तरीके का हो. जबतक कि इस मामले में आपराधिक गतिविधि का मकसद किसी गंभीर अपराध को बढ़ावा देने का ना हो या किसी संगठित अपराध से जुड़े होने का संदेह ना हो.
अरेस्ट वारेंट से अलग होता है रेड कॉर्नर नोटिस?
रेड कॉर्नर नोटिस किसी वांछित अपराधी की गिरफ्तारी का वारंट यानी अरेस्ट वारंट नहीं होता है. यानी रेड कॉर्नर नोटिस अरेस्ट वारंट से अलग होता है. आरोपी को तलाशने के बाद उसकी प्रोविजनल गिरफ्तारी मुमकिन हो सकती है. इस नोटिस में दो तरह की जानकारी होती है. पहली- अपराधी की पहचान. जैसे नाम, जन्मतिथि, बालों और आंखों का रंग, राष्ट्रीयता आदि. दूसरी- वांटेड व्यक्ति के अपराधों से संबंधित जानकारी. इन अपराधों में हत्या, बलात्कार, बच्चों के यौन शोषण या सशस्त्र लूट शामिल हो सकती है.
येलो नोटिस क्या है?
इंटरपोल रेड नोटिस के अलावा येलो नोटिस (Yellow Notice) भी जारी करता है. यह नोटिस किसी लापता शख्स के बारे में दुनियाभर की पुलिस को अलर्ट करने के लिए जारी किया जाता है. ये अपहरण या अन्य किन्हीं कारणों से गायब हुए लोगों के बारे में पता लगाने के लिए जारी किया जाता है.
येलो नोटिस ऐसे शख्स की पहचान के लिए भी जारी किया जा सकता है जो खुद की पहचान बता पाने में असमर्थ है. साल 2021 में इंटरपोल ने 2,622 येलो नोटिस जारी किए थे.
इसके अलावा भी इंटरपोल कई तरह के नोटिस जारी करता है...
ब्लू नोटिस: यह नोटिस किसी शख्स की पहचान उसकी लोकेशन या आपराधिक गतिविधियों जैसी अतिरिक्त जानकारियां जुटाने के लिए जारी किया जाता है.
ब्लैक नोटिस: अज्ञात शवों की पहचान के लिए जारी किया जाता है. INTERPOL हर साल करीब 150 ब्लैक नोटिस जारी करता है.
ग्रीन नोटिस: यह किसी शख्स की आपराधिक गतिविधियों के बारे में चेतावनी और खुफिया जानकारी से जुड़ा होता है जहां उस शख्स से लोक सुरक्षा को खतरे की आशंका होती है.
ऑरेंज नोटिस: इस तरह का नोटिस किसी शख्स या हथियार के बारे में अलर्ट करने के लिए जारी किया जाता है जिससे किसी तरह के खतरे की आशंका हो.
पर्पल नोटिस: ऐसे नोटिस अपराधियों के गुनाह करने के तरीकों और उनके पास मौजूद हथियारों की जानकारी जुटाने के लिए जारी किए जाते हैं.
कौन है गोल्डी बरार
सतिंदर सिंह उर्फ गोल्डी बरार गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई का करीबी माना जाता है. गोल्डी बरार इस समय कनाडा में है. पिछले साल, पंजाब के फरीदकोट जिले की एक अदालत ने युवा कांग्रेस नेता गुरलाल सिंह पहलवान की हत्या के मामले में गोल्डी बरार के खिलाफ एक गैर-जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी किया था. 16 से अधिक आपराधिक मामलों में गोल्डी बरार की तलाश है.