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Money Laundering: कौन है भारत को पहली स्पोर्ट्स कार देने वाले दीपक छाबड़िया जिनके ठिकानों पर पड़ी ED की रेड, दर्ज हुआ मनी लॉन्ड्रिंग का केस

दिलीप छाबड़िया को 28 दिसंबर, 2020 को मुंबई पुलिस की CIU टीम द्वारा गिरफ्तार किया गया था, जब उनकी फर्म दिलीप छाबड़िया (DC) डिज़ाइन्स प्राइवेट लिमिटेड पर डीसी स्पोर्ट्स कार खरीदने के इच्छुक ग्राहकों का हवाला देते हुए कुछ गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (NBFC) से ऋण लेने का आरोप लगाया गया था.

Dilip Chabbria Dilip Chabbria
हाइलाइट्स
  • अवंती कार के हैं मालिक

  • ठिकानों पर पड़ी ED की रेड

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गुरुवार को डीसी मोटर्स के मालिक दिलीप छाबड़िया के परिसरों की तलाशी ली. इस दौरान मुंबई और पुणे में स्थित उनके छह परिसरों की तलाशी ली गई. सूत्रों के अनुसार ईडी ने दिलीप छाबड़िया के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया था.

सूत्रों ने बताया कि मुंबई पुलिस की क्राइम इंटेलिजेंस यूनिट (CIU) और EOW (आर्थिक अपराध शाखा) द्वारा 2020 में छाबड़िया, उनकी बहन और अन्य के खिलाफ दर्ज किए गए 2020 मामलों के आधार पर मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया गया है.

बनाई थी DC Avanti नाम की कार
दिलीप छाबड़िया को 28 दिसंबर, 2020 को मुंबई पुलिस की CIU टीम द्वारा गिरफ्तार किया गया था, जब उनकी फर्म दिलीप छाबड़िया (DC) डिज़ाइन्स प्राइवेट लिमिटेड पर डीसी स्पोर्ट्स कार खरीदने के इच्छुक ग्राहकों का हवाला देते हुए कुछ गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (NBFC) से ऋण लेने का आरोप लगाया गया था. दिलीप छाबड़िया अपने खिलाफ तीन मामलों का सामना कर रहे हैं, दो सीआईयू द्वारा और एक मुंबई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा द्वारा.छाबड़िया ने डीसी अवंती नाम की कार बनाई थी जिसे कई कार शो में प्रदर्शित किया गया था और कहा जाता था कि यह भारत की पहली स्पोर्ट्स कार थी.

क्या है मामला ?

मुंबई पुलिस द्वारा छाबड़िया के खिलाफ दायर आरोपपत्र में, अधिकारियों ने आरोप लगाया कि छाबड़िया ने कुछ एनबीएफसी (गैर बैंकिंग वित्तीय निगम) के अधिकारियों की मिलीभगत से ग्राहकों के नाम का उपयोग करके प्रति कार 42 लाख रुपये उधार लिए. छाबड़िया ने दिखाया कि ग्राहको ने उनकी कंपनी से कार खरीदी और फिर विफल लोन चुकाने में विफल रहे, जो एनपीए में बदल गए. इस मामले में छाबड़िया का बेटा, बहन और एनबीएफसी के एक वरिष्ठ अधिकारी को आरोपी बनाया गया था.

पुलिस के अनुसार, छाबड़िया ने अपने द्वारा निर्मित कई अवंती कारों में एक ही इंजन और चेसिस नंबर का इस्तेमाल किया था और एनबीएफसी से एक कार पर कई ऋण वापस ले लिए थे. इनमें से कई कारें कई राज्यों में पंजीकृत थीं, लेकिन जब जांच की गई, तो पुलिस ने पाया कि कारों में एक ही चेसिस और इंजन नंबर थे. ऐसी ही एक कार को पुलिस अधिकारियों ने कोलाबा में पकड़ा था और जब जांच की गई, तो पता चला कि दस्तावेज़ असली थे और चेन्नई में पंजीकृत थे, उसी इंजन और चेसिस नंबर वाली एक अन्य अवंती कार को हरियाणा में पंजीकृत किया गया था.

इसके बाद कार मालिक ने छाबड़िया के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज कराया. जांच के दौरान पता चला कि छाबड़िया ने करीब 120 डीसी अवंती कारों का निर्माण किया था. पुणे में उसकी फैक्ट्री से तीन कारें जब्त की गईं और पुलिस ने कार के चालीस इंजन जब्त किए.

इसके बाद एक दूसरा मामला कॉमेडियन कपिल शर्मा ने भी छाबड़िया के खिलाफ दर्ज करवाया था. कपिल ने कहा कि छाबड़िया ने उनकी वैनिटी वैन को डिजाइन करने का वादा करके करोड़ों की ठगी की थी.अधिकारियों ने कहा कि यह दिलीप छाबड़िया और उनके सहयोगियों द्वारा अवंती कार और वित्त के नाम पर करोड़ों रुपये का रैकेट चलाया जा रहा था, जो वे एनबीएफसी से कारों के लिए उधार ले रहे थे. छाबड़िया ने पिछले साल दावा किया था कि उस समय सीआईयू के प्रभारी सचिन वाजे की मदद से उनके बिजनेस पार्टनर ने उन्हें इस मामले में फंसाया था. वेज़ को पिछले साल एंटिला बम धमकी मामले में गिरफ्तार किया गया था.

कौन हैं दिलीप छाबड़िया?
जब मॉडिफाइड वाहनों की बात आती है तो दिलीप छाबड़िया एक जाना-पहचाना नाम है. उनके ट्रेडमार्क 'डीसी' डिजाइन की काफी मांग है और उनके क्लाइंट के रूप में कई हस्तियां हैं. उन्हें डीसी अवंती को लॉन्च करने का श्रेय भी दिया जाता है, जिसे 2016 में भारत की पहली स्पोर्ट्स कार के रूप में जाना जाता है. उनकी कंपनी दिलीप छाबड़िया डिज़ाइन्स प्राइवेट लिमिटेड को 1993 में शामिल किया गया था और मार्च 2015 में ऑटोमोटिव रिसर्च एसोसिएशन ऑफ़ इंडिया (एआरएआई) द्वारा औपचारिक प्रमाणन के बाद 2016 में डीसी अवंती को लॉन्च किया गया था. उन्होंने देश और दुनिया भर में लगभग 120 ऐसी कारें बेची हैं.