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Inspiring Story: साड़ी पहनकर दौड़ लगाती हैं 103 साल की कलावती! इस बार काशी सांसद खेलकूद प्रतियोगिता में लेने जा रही हैं हिस्सा, जानिए क्या है उनकी फिटनेस का राज

वाराणसी में आयोजित होने वाली सांसद खेलकूद प्रतियोगिता में 103 साल की कलावती हिस्सा लेने जा रही हैं. उनका कहना है कि वह पीएम मोदी की 'खेलेगा भारत तो खिलेगा भारत' की नीति से प्रभावित हैं.

kalawati, 103 years kalawati, 103 years

आज के समय में जब ज्यादातर लोग 60 की उम्र पार करते ही बिस्तर पकड़ लेते हैं उसमें ये दादी अपने लिए एक नई कहानी लिख रही हैं. 103 साल की कलावती के हांथ-पैर कांपते हैं लेकिन उनके जुनून के आगे कुछ न टिका. उम्र के इस पड़ाव पर आकर उनके हौसले बुलंद हैं और वो हम सभी के लिए प्ररेणादायक हैं. कलावती प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रभावित होकर सांसद खेलकूद प्रतियोगिता काशी 2023 में हिस्सा लेने वाली हैं.

10 साल की उम्र में हो गई थी शादी
वाराणसी के परमानंदपुर की निवासी 103 साल की कलावती खेल प्रतियोगिता में हिस्सा लेकर 100 मीटर की दौड़ लगाएंगी. उनके चेहरे पर उत्साह की चमक ऐसी कि नौजवानों को भी पीछे छोड़ दें. उनके जीवन की कहानी किसी मैराथन से कम नहीं है. विपरीत परिस्थितियों में जिस धैर्य और शालीनता के साथ उन्होंने काम किया है वो वाकई किसी के लिए प्रेरणा से कम नहीं है.
कलावती का जन्म 1921 में एक किसान परिवार में हुआ था. 10 साल की उम्र में उनकी शादी हो गई थी. उन्होंने शादी के 20 साल अपने पति से अलग होने का फैसला किया और वापस अपने पिता के घर आ गईं. उस समय उनकी उम्र 31 साल थी. ताकि पिता पर कोई बोझ न हो इसके लिए कलावती ने वाराणसी के शिवपुर इलाके में अपने परिवार के 15-बीघा खेतों की देखभाल करना शुरू कर दिया.

उनके भतीजे अशोक कुमार सिंह ने कहा, "1960 के दशक में एक महिला के लिए यह आसान काम नहीं था। लेकिन मेरी बुआजी ने इसे इतनी अच्छी तरह से संभाला कि वह हमारे घर की कुलमाता बनकर उभरीं." अशोक कुमार के पिता और कलावती के 15 साल छोटे भाई का 2022 में 86 वर्ष की आयु में निधन हो गया था.अशोक एक स्पोर्ट्स ट्रेनर हैं और हॉकी, हैंडबॉल, रोइंग और कुश्ती के जिला संघों का हिस्सा हैं. वह ग्रामीण इलाकों में बालिका हॉकी खिलाड़ियों के लिए ट्रेनिंग सेशन्स भी चलाते हैं.

पीएम मोदी से हुईं प्रभावित
अशोक कुमार की पत्नी आशा ने टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया कि कलावती अब भी दिन में कई बार उनके घर की छत पर सीढ़ियां चढ़ती हैं. उन्होंने कहा, “गांजरी में एक अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम की नींव रखने के लिए हाल की यात्रा के दौरान वह मोदी जी से बहुत प्रभावित हुईं. जब हमने खेलों में उनकी रुचि देखी तो उनकी फिटनेस को देखते हुए, हमारे परिवार ने SKPK-2023 में उसकी भागीदारी सुनिश्चित करने का फैसला किया. ”

आशा ने कहा, "चूंकि 100 वर्ष की आयु से ऊपर वाले लोगों के लिए कोई श्रेणी नहीं थी, इसलिए हमने उसे 60+ श्रेणी में नामांकित करने का फैसला किया." आशा ने कहा, ''मैंने 13 साल पहले सुबह की सैर पर जाने का फैसला किया. इससे पहले, मैं परिवार के खेतों की देखभाल करती थी. मुझे इसके अलावा किसी भी व्यायाम की आवश्यकता महसूस नहीं हुई. कलावती ने 90 साल की उम्र से अपनी पर्सनल फिटनेस का ख्याल रखना शुरू किया.कलावती सुबह ठीक पांच बजे उठ जाती हैं. इसके बाद घर के ही बगल वाले मैदान में दौड़ लगाने जाती हैं. वापस आकर नहा-धोकर फिर 7 बजे चाय पीती हैं. इसके बाद फलों का नाश्ता करती हैं. फिर दोपहर 11 बजे से पहले खाना खा लेती हैं. दिन में दो बार ध्यान करती हैं. इसके बाद शाम को हल्का नाश्ता, फिर शाम 7.30 बजे रात का भोजन करती हैं. इसके बाद वो टहलने निकल जाती हैं और नौ बजे तक सो जाती हैं.

कितने लोग कर चुके हैं आवेदन
कलावती रोज स्पोर्ट्स शूज और साड़ी पहनकर दौड़ लगाती हैं. एसकेपीके-2023 के नोडल अधिकारी और मुख्य विकास अधिकारी हिमांशु नागपाल ने जानकारी दी कि 16 अक्टूबर से शुरू होने वाले खेल आयोजनों के लिए 2.1 लाख एंट्रीज आई हैं. एथलेटिक्स, कुश्ती, शूटिंग और बैडमिंटन सहित 27 ट्रैक एंड फील्ड और कॉम्बैट गेम्स में प्रविष्टियां हैं जिसमें 11-14 वर्ष, 14-18 वर्ष, 18-40 वर्ष, 40-60 वर्ष और 60+कैटेगरी रखी गई हैं. आयोजन ग्राम पंचायत से लेकर जिला स्तर तक होंगे.

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