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स्कूल के लिए किसान ने दे दी इतने बीघे जमीन, किसी को नहीं हो रहा यकीन

किसान बृजेंद्र सिंह रघुवंशी अगर जमीन दान में नहीं देते तो स्कूल को किसी और गांव में बनाने की तैयारी चल रही थी. बच्चों की शिक्षा के लिए उठाए गए इस कदम की सब तारीफ कर रहे हैं.

सांकेतिक तस्वीर सांकेतिक तस्वीर
हाइलाइट्स
  • जमीन दान देकर किया मिसाल कायम

  • स्कूल बनाने में इस्तेमाल होगी जमीन

कहते हैं कि कुछ देना ही है तो समाज को बढाने में, समाज को शिक्षित करने में अपना योगदान दें. कुछ ऐसा ही उदाहरण पेश किया है अशोकनगर जिले के महिदपुर गांव के एक किसान ने. इनका नाम बृजेंद्र सिंह रघुवंशी है. इन्होंने स्कूल बनवाने के लिए सरकार को अपनी निजी जमीन दान में दे दी. बृजेंद्र सिंह ने गांव के बच्चों के उज्जवल भविष्य के लिए जमीन दान में देकर समाज में एक मिसाल कायम किया, जिसकी सभी ग्रामवासी सराहना कर रहे है.

 

किसान बृजेंद्र सिंह

 स्कूल को थी 10 बीघा जमीन की ज़रूरत

दरअसल गांव में स्वीकृत हुए सीएम राइज स्कूल ( CM Rise School) के लिए 10 बीघा जमीन की ज़रूरत थी लेकिन उस गांव में प्रशासन के पास 6 बीघा ही सरकारी ज़मीन थी, जिसके चलते स्कूल को दूसरे गांव में ले जाने की तैयारी चल रही थी. जैसे ही किसान बृजेंद्र सिंह को इस बात की जानकारी लगी तो उन्होंने सरकारी जमीन से लगी हुई अपनी 4 बीघा जमीन प्रशासन को दान करने का मन बनाया और कलेक्टर से मुलाकात की. 

इससे पहले भी दान में देते रहे हैं जमीन

यह पहली बार नहीं है जब महिदपुर गांव में स्कूल के लिए जमीन दान में दी गई हो. इससे पहले करीब 40 साल पहले भी किसान बृजेंद्र सिंह रघुवंशी के ही दादा नथन सिंह ने स्कूल के लिए अपनी जमीन दान दी थी. बृजेंद्र सिंह बताते हैं कि उनके दादा नथन सिंह 9 बार गांव के सरपंच रहे और जनपद अध्यक्ष रहे. उन्होंने पंचायत भवन, स्कूल, सोसाइटी की माल गोदाम बनाने के लिए भी जमीन दान में दी थी. इस मामले में तहसीलदार दीपेश घाकड़ ने बताया कि कलेक्टर से किसान ने जमीन देने की बात कही है. हमने किसान को जमीन के दस्तावेज के साथ बुलाया है, सारी प्रकिया पूरी होने के बाद किसान की जमीन स्कूल के लिए ले ली जाएगी.

 

(रवीश पाल सिंह की रिपोर्ट)