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सेफ्टी के लिए कमाल का इनोवेशन! जापान की ट्रेनों में लगाए जाएंगे 'स्टैब-प्रूफ' छाते, जानें इनकी खासियत

जापान की ट्रेनों में 'स्टैब-प्रूफ' छाते लगाए जाएंगे. जापान के 600 से ज्यादा ट्रेनों में खास तकनीक से तैयार किए गए स्टैब-प्रूफ छाते का इस्तेमाल किया जाएगा. ये छाते यात्रियों को खतरों से बचाने के लिए एक पोर्टेबल ढाल के रूप में काम करेगी.

Japan Trains Japan Trains
हाइलाइट्स
  • जापान की ट्रेनों में लगाए जाएंगे 'स्टैब-प्रूफ' छाते

  • केवल 700 ग्राम है इनका वजन

दुनिया के सबसे सुरक्षित देशों में से एक जापान में इन दिनों चाकू से हमले की घटनाएं खूब देखने को मिल रही हैं. इससे निपटने के लिए जापान ने एक नया और अनोखा कदम उठाया है. अब जापान की ट्रेनों में 'स्टैब-प्रूफ' छाते लगाए जाएंगे. जापान के 600 से ज्यादा ट्रेनों में खास तकनीक से तैयार किए गए स्टैब-प्रूफ छाते का इस्तेमाल किया जाएगा. ये छाते यात्रियों को खतरों से बचाने के लिए एक पोर्टेबल ढाल के रूप में काम करेगी.

क्या खास है 'स्टैब-प्रूफ' छाते में
ये छाते लगभग 1 मीटर लंबे हैं और पूरी तरह खुलने पर 1.1 मीटर चौड़े हो सकते हैं. इन छातों को एक खास चीज से ढका गया है, जिसे चाकू से काटना बहुत मुश्किल होता है. खुली हुई छतरी हमले से बचने में मदद करती है. इन छतरियों का डिज़ाइन आम छतरियों से 20 सेमी लंबा है, जो लोगों को हमला करने वाले से दूरी बनाने में मदद करती है.

जेआर वेस्ट के मुताबिक ये छतरियां केवल 700 ग्राम की हैं जो आम ढालों और अन्य सुरक्षात्मक इक्विपमेंट की तुलना में काफी हल्की हैं. इनमें 'सासुमाता' (sasumata) जैसा इक्विपमेंट भी लगा है, जिसे दो-कांटों वाले हथियार की तरह इस्तेमाल किया जा सकता है. यह इक्विपमेंट टोक्यो में एक असफल डकैती में इस्तेमाल हुआ था. इन छतरियों को ट्रेन की तंग जगहों में भी आराम से इस्तेमाल किया जा सकता  है,  इसके अलावा, इन छतरियों में एक जालीदार कपड़ा भी है, जिससे लोग हमलावरों से खुद को सुरक्षित रख सकते हैं.

पहले भी लगा चुके हैं ट्रेनों में सेफ्टी इक्विपमेंट
बता दे कि जेआर वेस्ट के अध्यक्ष (president) काज़ुआकी हसेगावा (Kazuaki Hasegawa) के मुताबिक नवंबर में जेआर वेस्ट 600 ट्रेनों में 1,200 छतरियां तैनात करेगा. ये छतरियां Kansai region की कंवेशनल लाइनों पर चलने वाली ट्रेनों में लगाया जाएगा, जिसमें ओसाका और क्योटो भी शामिल हैं. हर ट्रेन के ड्राइवरों के केबिन में दो छतरियां रखी जाएंगी. इससे पहले रेलवे कंपनी ने अपनी कुछ ट्रेनों में सुरक्षा इक्विपमेंट लगाए थे, जिनमें ढालें, चाकू के वार से बचाने वाले जैकेट्स और चाकू के वार को रोकने वाले दस्ताने भी शामिल थे. लेकिन अब उन्होंने एक ऐसी छतरी तैयार करने पर ध्यान दिया है, जिसका इस्तेमाल करना आसान हो.

जापान में चाकू हमलों में बढ़ोतरी
जापान सुरक्षित देशों में से एक माना जाता है लेकिन हाल के समय में अचानक बढ़ते चाकू हमलों ने सरकार को सोचने पर मजबूर कर दिया है. जुलाई 2023 में, एक व्यक्ति ने ओसाका में कंसाई इंटरनेशनल एयरपोर्ट जा रही जेआर वेस्ट ट्रेन पर हमला किया. इस ट्रेन में 150 यात्री थे, जिनमें से तीन लोग घायल हो गए जिसमें चालक भी शामिल था. यह घटना अकेली नहीं है इससे पहले भी कई घटनाएं हुई है. अक्टूबर 2021 में, 26 वर्षीय क्योता हातोरी ने टोक्यो की एक ट्रेन में हमला किया. वह बैटमैन फिल्मों के खलनायक जोकर की पोशाक में था और उसके हमले में 10 लोग घायल हो गए थे. बाद में उसे उस हत्या के प्रयास और आगजनी के लिए 23 साल की सजा सुनाई गई. हातोरी का हमला, दो महीने पहले हुई एक अन्य घटना से प्रेरित था. उस समय, टोक्यो की ओडाक्यु लाइन पर युसुके त्सुशिमा ने 10 लोगों को चाकू मारकर घायल कर दिया था. त्सुशिमा ने कहा कि वह अकेलेपन से परेशान था और उसे दोस्त या गर्लफ्रेंड नहीं मिल पा रही थी.

जापान के इतिहास का सबसे खतरनाक चाकू हमला
जापान ने हाल के सालों में और भी खतरनाक चाकू हमलों का सामना किया है. 2016 में सातोशी उएमत्सु नाम के एक व्यक्ति ने जापान के इतिहास का सबसे खतरनाक चाकू हमला किया जिसमें 19 लोगों की मौत हुई और 26 लोग घायल हुए. यह हमला सागामिहारा शहर (city of Sagamihara) के मानसिक रूप से विकलांगों (mentally disabled) के देखभाल केंद्र में हुआ था. इससे पहले, 2001 में एक व्यक्ति ने ओसाका के एक प्राइमरी स्कूल में हमला किया था जिसमें आठ बच्चों की मौत हो गई और 15 अन्य घायल हुए थे. हालांकि ऐसे हमले जापान में कम ही होते हैं लेकिन हाल में अचानक हुए चाकू हमलों ने अधिकारियों को नए और सुरक्षित उपाय खोजने के लिए प्रेरित किया है. यही कारण है की ट्रेनों में चाकू प्रूफ छतरियों को बनाया गया है ताकि यात्रियों की सुरक्षा बढ़ाई जा सके.

यह स्टोरी निशांत सिंह ने लिखी हैं, निशांत GNTTV में बतौर इंटर्न काम कर रहे हैं.