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वेस्ट मैनेजमेंट में मिसाल कायम कर रहा है मुन्नार, हर दिन 7 टन कचरे की होती है रिसायक्लिंग

पंचायत ने मुन्नार के निवासियों और यहां आने वाले पर्यटकों से सिफारिश की है कि वे या तो डिस्पोजेबल चीजें इस्तेमाल न करें या ऐसे उत्पाद खरीदें जिन्हें सुरक्षित और आसानी से निपटाया जा सकता है.

Munnar Munnar
हाइलाइट्स
  • घर-घर से किया जा रहा कचरा इकट्ठा 

  • टूरिस्ट्स से भी सहयोग की अपील

आज के समय में जब बड़े शहर, टूरिस्ट प्लेस बढ़ते कचरे के मुद्दे से जूझ रहे हैं तो वहीं केरल का एक छोटा पहाड़ी शहर कचरा प्रबंधन मेंमिसाल कायम कर रहा है. केरल में मुन्नार शहर हर रोज पैदा होने वाले सात टन कचरे को प्रभावी तरीके से मैनेज कर रहा है.

मुन्नार का उद्देश्य जीरो-वेस्ट शहर बनना है और इसके लिए सामुदायिक भागीदारी से भारी मात्रा में कचरे को प्रोसेस करके रिसायकल किया जा रहा है. 

मुन्नार पंचायत सचिव के एन सहजन का कहना है कि शहर के निवासियों को अपने कचरे को तीन कैटेगरी में अलग करने के लिए कहा गया है- डिग्रेडेबल कचरा, डायपर और सैनिटरी नैपकिन, और प्लास्टिक. पंचायत ने यहां आने वाले पर्यटकों से अपील है कि वे डिस्पोजेबल चीजों का उपयोग करने से बचें या ऐसे उत्पाद खरीदें जिन्हें सुरक्षित और आसान तरीकों से डिस्पोज किया जा सके. 

घर-घर से किया जा रहा कचरा इकट्ठा 

शुरुआत में, ग्रामीण कचरे को ठीक से अलग नहीं करते थे. हालांकि, लगातार प्रयासों के बाद लगभग हर घर सहयोग कर रहा है. 'हरिता कर्म सेना' के वॉलंटियर प्रतिदिन घरों से कचरा इकट्ठा करते हैं, जिसके लिए हर घर से प्रत्येक माह 100 रुपये शुल्क लिया जाता है.

कल्लर में एक प्रोसेसिंग प्लांट है जहां एक निजी कंपनी वैज्ञानिक तरीकों से कचरे को संसाधित करती है. होटल और दुकानें पहले ग्राहकों को डिस्पोजेबल ग्लास में कॉफी आदि देती थीं. हालाँकि, यह अब स्टील और कांच के गिलास इस्तेमाल होते हैं. 

टूरिस्ट करें योगदान 

घूमने आने वाले पर्यटकों को समझाना जरूरी है. क्योंकि वे अपने पीछे कचरा छोड़ जाते हैं. इसलिए शहर के एंट्री पॉइंट्स पर एक महीने के भीतर ग्रीन चेकपोस्ट स्थापित किए जाएंगे. जहां हरित सेना के सदस्य प्लास्टिक को इकट्ठा करेंगे. बताया जा रहा है कि मुन्नार के प्रमुख पर्यटन स्थलों पर ग्रीन पेट्रोलिंग टीम तैनात की जाएगी.

टीम से संपर्क करने के लिए व्हाट्सएप नंबर भी दिया जाएगा. इसके अलावा मुन्नार आने वाले बस ड्राइवर अगर पंचायत को प्लास्टिक कचरा इकट्ठा करके देंगे तो उन्हें इनाम राशि दी जाएगी.