अब तक हावड़ा में आचार्य जगदीश चंद्र बोस भारतीय वनस्पति उद्यान में 350 साल पुराना बरगद का पेड़ दुनिया में सबसे पुराना माना जाता था. लेकिन हाल ही में इस रिकॉर्ड को एक और पेड़ ने तोड़ दिया है. अब एक बरगद का पेड़ मिला है जो इससे भी पुराना है. उत्तर प्रदेश में बुलंदशहर जिले के नरौरा में मिला एक बरगद का पेड़ 500 साल पुराना बताया जा रहा है.
500 साल पुराना है ये पेड़
टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, भारतीय वनस्पति सर्वेक्षण, प्रयागराज सेंटर, बेबे-बोल्याई यूनिवर्सिटी, रोमानिया और जोहान्सबर्ग, दक्षिण अफ्रीका की एक प्रयोगशाला के वैज्ञानिकों की एक टीम ने इस पेड़ की खोज की है. अनुमान लगाया जा रहा है कि यह पेड़ 500 साल पुराना है. नरौरा बरगद के पेड़ की खोज ऊपरी गंगा रणसार में एक फ्लोरिस्टिक सर्वे के दौरान की गई. ये पेड़ अपने आकार के लिए दुनिया के विशाल बरगद के पेड़ों में दसवें स्थान पर है.
पेड़ का ऊपरी घेरा 4,069 वर्ग मीटर में फैला है
नरोरा बरगद के पेड़ का ऊपरी घेरा 4,069 वर्ग मीटर में फैला है. रेडियोकार्बन डेटिंग के परिणाम बताते हैं कि पेड़ 450 से 500 साल पुराना है. टीओआई की रिपोर्ट के मुताबिक, बीएसआई, प्रयागराज की सीनियर साइंटिस्ट प्रोफेसर आरती गर्ग ने कहा कि दिलचस्प बात यह है कि मुख्य ट्रंक को सहारा देने वाली इसकी केवल चार जड़ें हैं. उन्होंने बताया कि यह पेड़ बुलंदशहर (यूपी) में नरौरा पावर प्लांट से आठ किलोमीटर की दूरी पर स्थित है.
प्रोफेसर आरती गर्ग आगे कहती हैं, "भारत में, बरगद के पेड़ का आध्यात्मिक, पौराणिक और धार्मिक महत्व है. ये पेड़ शाश्वत जीवन या उर्वरता का प्रतीक है. इसे घरों और मंदिरों के आसपास लगाया जाता है. बरगद के पेड़ को 'कल्पवृक्ष' भी कहा जाता है, जिसका अर्थ है इच्छा पूरी करने वाले पेड़.”
दुनिया के सबसे बड़े बरगद के पेड़
दुनिया का सबसे बड़ा एफ. बेंगालेंसिस (बरगद का पेड़), आंध्र प्रदेश में थिम्मम्मा मारीमानु है. इसका क्षेत्रफल 19,107 वर्गमीटर है. इसके बाद गुजरात में कबीर वद बरगद का पेड़ है, जो 17,520 वर्गमीटर का है और मांझी, उत्तर प्रदेश में 16,770 वर्गमीटर का पेड़ सबसे बड़ा है. कोलकाता का ग्रेट बरगद का पेड़, जिसे पहले दुनिया का सबसे पुराना और सबसे बड़ा बरगद माना जाता था, अब 16,531 वर्ग मीटर के क्षेत्रफल के साथ चौथे स्थान पर है.