भगवान बद्री विशाल के कपाट बंद होने को 5 दिन बाकी हैं. जैसे-जैसे भगवान बद्री विशाल के कपाट बंद होने के दिन करीब आ रहे हैं वैसे वैसे बद्रीनाथ धाम में कड़ाके की ठंड और बर्फबारी का दौर बढ़ता जा रहा है. (फोटो: PTI)
हालांकि कड़ाके की ठंड के बावजूद श्रद्धालुओं की आस्था में कोई कमी नहीं दिखाई दे रही. श्रद्धालु भगवान बद्री विशाल के दर्शनों के साथ बर्फबारी का भी आनंद ले रहे हैं. (फोटो: PTI)
बता दें, 19 नवंबर को भगवान बद्री विशाल के कपाट शीतकाल के लिए बंद होंगे. इसकी प्रक्रिया 15 नवंबर से शुरू हो रही है. (फोटो: PTI)
कपाट बंद होने की प्रक्रिया मंगलवार 15 नवंबर से शुरू हो जाएगी. धाम के कपाट बंद होने की प्रक्रिया के तहत आसपास के मंदिरों के कपाट भी बंद होंगे. (फोटो: PTI)
इस दौरान वेद ऋचाओं का वाचन चलता रहेगा. जब उच्चारण बंद होगा उसके बाद बद्रीनाथ धाम के कपाट बंद होंगे. (फोटो: PTI)
भगवान कुबेर और उद्धव जी की डोली गर्भगृह से बहार बामणी गांव के लिए 19 नवंबर को रवाना होगी. इसके साथ शंकराचार्य जी की गद्दी भी गर्भगृह से रावल निवास में विश्राम करेगी. (फोटो: PTI)
बताया जा रहा है कि कपाट बंद होने के अवसर पर लगभग 20000 श्रद्धालुओं के दमप में पहुंचने की उम्मीद है. (फोटो: PTI)
इस दौरान उत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में भी बर्फबारी का सिलसिला भी जारी है. बद्रीनाथ धाम में भी ताजा बर्फबारी हुई है. वहां अचानक देखते ही देखते आसमान से रूई के फाहों की तरह बर्फ गिरने लगी. (फोटो: PTI)