भगवान शिव की पूजा में रुद्राभिषेक एक अहम अंग है. ये एक पवित्र हिंदू प्रथा है जिसमें देवों के देव महादेव को जल चढ़ाया जाता है. "रुद्र" शब्द भगवान शिव के भयंकर रूप को दर्शाता है, जबकि "अभिषेक" का अर्थ है जल, गंगाजल, दूध, शहद और अन्य प्रसाद से अभिषेक करना. रुद्राभिषेक के समय वैदिक मंत्रों का पाठ किया जाता है. इस बार महा शिवरात्रि पर आप भी भगवान शिव का रुद्राभिषेक करके उन्हें प्रसन्न कर सकते हैं.
महाशिवरात्रि पर रुद्राभिषेक का महत्व
दरअसल, महाशिवरात्रि पर रुद्राभिषेक का काफी महत्व है. इसके बगैर पूजा अधूरी रहती है. कहते हैं महाशिवरात्रि पर रुद्राभिषेक करने वाले व्यक्ति के साथ-साथ उनके परिवार के शारीरिक और आध्यात्मिक कल्याण दोनों पर गहरा प्रभाव पड़ता है. इसके अलावा, इसमें सभी प्रकार के पापों और नकारात्मक कर्म प्रभावों को दूर करने और शांति, समृद्धि और इच्छाओं की पूर्ति जैसे आशीर्वाद प्रदान करने की शक्ति होती है.
इन तरीकों से कर सकते हैं रुद्राभिषेक
1. पवित्र जल अभिषेक: जल की धारा भगवान भोलेशंकर को अत्यंत प्रिय है. पवित्र जल से आप भगवान शिव का अभिषेक कर सकते हैं. कहा जाता है कि जलाभिषेक से तेज बुखार भी शांत हो जाता है.
2. घी से रुद्राभिषेक: घी से रुद्राभिषेक करना अत्यंत शुभ होता है. ऐसा करने से आपको सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं.
3. पंचामृत से रुद्राभिषेक: पंचामृत से अभिषेक करना भी काफी शुभ माना जाता है. कहते हैं कि मन में कोई मनोकामना सोच कर अगर आप भगवान शिव का पंचामृत से रुद्राभिषेक करेंगे तो वह आपको मिल जाएगी.
4. गन्ने के रस से रुद्राभिषेक: अगर आप लंबे समय से पैसों की समस्या से जूझ रहे हैं या कर्ज की समस्या से जूझ रहे हैं तो भगवान शिव का गन्ने के रस से अभिषेक करें.
5. दही से रुद्राभिषेक: दही से रुद्राभिषेक भगवान शिव को अत्यंत प्रिय है. कई लोगों का मानना है कि दही से रुद्राभिषेक करने से मार्ग में आने वाली बाधाएं दूर हो जाती हैं. साथ ही इससे घर में चल रहे कलेश भी दूर होते हैं.
6. शक्कर मिश्रित जल से रुद्राभिषेक: शक्कर मिश्रित जल से अभिषेक करना भी शिव को अत्यंत प्रिय है. पुत्र प्राप्ति की कामना हो तो शक्कर मिश्रित जल से शिवलिंग का अभिषेक करें.
7. अनार के रस से रुद्राभिषेक: अनार के रस से शिवलिंग का अभिषेक करना शुभ माना जाता है. माना जाता है कि ऐसा करने से व्यक्ति को आर्थिक संकट से मुक्ति मिलती है.