हिंदुओं में गणेश चतुर्थी का विशेष महत्व है. यह पर्व हर साल भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है. इस बार गणेश चतुर्थी 31 अगस्त को मनाई जाएगी. 31 अगस्त से 9 सितंबर तक चलने वाले इस त्योहार में हर रोज कुछ दुर्लभ संयोग बन रहे हैं. इस दिन जगह-जगह गणपति के पंडाल लगाए जाते हैं और सुंदर झांकियां सजाई जाती हैं.
बता दें कि वैसे तो ये त्योहार 10 दिनों तक चलता है लेकिन चतुर्थी के दिन गणेश जी की स्थापना की जाती हैं. इस बार सुबह 11.20 बजे से दोपहर 01.20 बजे तक का समय सबसे अच्छा रहेगा, क्योंकि इस वक्त मध्याह्न काल रहेगा, जिसमें गणेश जी का जन्म हुआ था. ज्योतिषाचार्य के अनुसार गणेश जी की पूजा और स्थापना हमेशा दोपहर में ही करनी चाहिए. लेकिन ऐसा अगर ना कर पाएं तो किसी भी शुभ लग्न या चौघड़िया मुहूर्त में भी गणपति स्थापना की जा सकती है. वैसे भी इस बार गणेश चतुर्थी पर 300 साल बाद ग्रहों की शुभ स्थिति बन रही और लंबोदर योग भी है.
क्या है खास योग?
इस साल और भी सारे कई शुभ संयोग बन रहे हैं. सबसे खास बात ये कि इस बार इस दिन बुधवार पड़ रहा है जोकि गणेश जी का दिन माना जाता है. इसके अलावा तिथि चतुर्थी, नक्षत्र चित्रा और मध्याह्न काल यानी दोपहर का समय ये ही वो संयोग था जब पार्वती जी ने मिट्टी के गणेश बनाए थे और शिव जी ने उसमें प्राण डाले थे. इसके अलावा स्थापना करते समय हमेशा ध्यान दें. अगर आप घर में मूर्ति की स्थापना कर रहे हैं तो ध्यान रहे कि गणेश जी की मूर्ति बैठी हुई हो लेकिन अगर ऑफिस, दुकान या फैक्ट्री में मूर्ति की स्थापना कर रहे हैं तो उसमें गणेश जी खड़े होने चाहिए.
कैसे करें पूजा?
1. सबसे पहले एक चौकी पर स्वस्तिक बनाकर एक चुटकी चावल रखें.
2. अब उस पर मौली लपेटी हुई सुपारी रखें. इन सुपारी गणेश की पूजा करें.
3.अगर आप इतना भी नहीं कर सकते तो श्रद्धा से सिर्फ मोदक और दूर्वा चढ़ाकर प्रणाम करने से भी भगवान की कृपा मिलती है.
गणेश चतुर्थी 2022 मुहूर्त
भाद्रपद शुक्ल पक्ष चतुर्थी तिथि शुरू - 30 अगस्त 2022 से शुरू होकर 31 अगस्त को दोपहर 3.33 मिनट पर खत्म होगी.
मूर्ति स्थापना के लिए शुभ मुहूर्त - 11.05 AM - 1.38 PM (31 अगस्त 2022, बुधवार)
विजय मुहूर्त - दोपहर 2.34 - 3.25 (31 अगस्त 2022)
अमृत काल मुहूर्त - शाम 5.42 - 7.20 (31 अगस्त 2022)
गोधूलि मुहूर्त - शाम 6.36 - 7.00 (31 अगस्त 2022)