अयोध्या में रामनवमी का उत्सव खास होने जा रहा है. रामलला के मंदिर और अयोध्या की फूलों से भव्य सजावट की जाएगी. देश विदेश से फूल मंगाए गए हैं और 350 कारीगर राम दिन सजावट के काम में लगे हैं. दर्शनार्थियों के स्वागत के लिए फूलों के द्वार बनाए जा रहे हैं. पूरे देश से बड़ी तादाद में श्रद्धालु अयोध्या पहुंच रहे हैं. ऐसे में श्रद्धालुओं को हनुमानगढ़ी और राम मंदिर में बिना किसी दिक्कत के दर्शन-पूजन कराने के लिए समय में बदलाव किया गया है. इसके साथ ही प्रशासन की ओर से अवधपुरी में और भी खास इंतजाम किए गए हैं
अभिजीत मुहूर्त में सूर्य तिलक
ज्योतिषियों के अनुसार रामनवमी पर अभिजीत मुहूर्त रहेगा. क्योंकि वाल्मीकि रामायण के अनुसार त्रेतायुग में इसी समयावधि में श्रीराम का जन्म हुआ था.दोपहर 12 बजे रामलला का सूर्य तिलक होगा. इस दौरान होने वाले सूर्य तिलक में केदार, गजकेसरी, पारिजात, अमला, शुभ, वाशि, सरल, काहल और रवि योग बनेंगे.
इन 9 शुभ योग में रामलला का सूर्य तिलक की परंपरा को निभाया जाएगा. क्योंकि इसी समय पर भगवान राम का जन्म हुआ था. इसके अलावा श्री रामलला के जन्म अवधि पर पूजा और व्रत करने की भी परंपरा है. ऐसे में पूजा के लिए करीब ढाई घंटे का एक ही मुहूर्त है. जो सुबह 11:05 बजे से दोपहर 1:35 बजे तक रहेगा.
रामनवमी पर पूजा मुहूर्त
रामनवमी के दिन मंगला आरती के बाद ब्रह्म मुहूर्त में सुबह 3.30 बजे अभिषेक और श्रृंगार होगा. इसके बाद आम दिनों की तरह ही रामलला के दर्शन-पूजन का दौर चलेगा. मगर बीच-बीच में रामलला को भोग लगाने के लिए कुछ समय के लिए पर्दा लगा दिया जाएगा. हालांकि राम मंदिर के कपाट रात 11 बजे तक खुले रहेंगे. इस अवधि को और भी बढ़ाया जा सकता है.