ब्लैक होल का रहस्य जानने के लिए वैज्ञानिक हर दिन नए-नए शोध कर रहे हैं. अब नासा (NASA)ने ब्लैक होल (Black hole ) की आवाज जारी की है. 250 मिलियन प्रकाश वर्ष दूर इस ब्लैक होल में गैस और प्लाज्मा के जरिए बढ़ने वाली वास्तविक ध्वनि तरंगों को खोजा गया है.आकाशगंगा में इतने प्रकार की गैसें हैं, जिनके घर्षण से आवाज निकलती है. ब्लैक होल के आसपास मौजूद गैसों ने ही उसकी आवाज को रिकॉर्ड करने में नासा वैज्ञानिकों की मदद की. आप जिस ब्लैक होल की आवाज सुन रहे हैं, वो उसकी असली फ्रिक्वेंसी से 1440 लाख करोड़ से 2880 लाख करोड़ गुना ज्यादा फ्रिक्वेंसी में सुन रहे हैं.
नासा ने जारी की ब्लैक होल की आवाज
नासा ने ब्लैक होल की आवाज जारी करते हुए अपने ट्वीट में लिखा, 'यह गलत धारणा है कि अंतरिक्ष में कोई आवाज नहीं है, क्योंकि आकाशगंगा खाली है, जिससे ध्वनि तरंगों को यात्रा करने का कोई रास्ता नहीं मिलता. एक गैलेक्सी क्लस्टर में इतनी गैस है कि हमने वास्तविक ध्वनि को पकड़ लिया है. यहां एक ब्लैक होल की एंप्लीफाइड और अन्य डेटा के साथ मिक्स करके बनाई गई ध्वनि है.
The misconception that there is no sound in space originates because most space is a ~vacuum, providing no way for sound waves to travel. A galaxy cluster has so much gas that we've picked up actual sound. Here it's amplified, and mixed with other data, to hear a black hole! pic.twitter.com/RobcZs7F9e
— NASA Exoplanets (@NASAExoplanets) August 21, 2022
क्या है ब्लैक होल
ब्लैक होल स्पेस में वो जगह है जहां भौतिक विज्ञान का कोई नियम काम नहीं करता. यहां पदार्थ अपने आप खत्म हो जाते हैं. इसमें से प्रकाश तक बाहर नहीं निकल सकता है. ब्लैक होल की ऊर्जा के बारे में कहा जाता है कि यह इतनी ज्यादा होती है कि बड़े से बड़े ग्रह इसके अंदर समा सकते हैं. ब्लैक होल्स कैसे बने हैं इसका पता अभी तक नहीं चला है. यहां पहुंचने के बाद क्या होगा, कोई नहीं जानता. आप सब कुछ भूल कर नई दुनिया में पहुंच जाएगे या आपके जीवन का अंत हो जाएगा, यह रहस्य अब तक बना हुआ है.
एक थ्योरी के अनुसार एक बड़े तारे जब अपनी उर्जा को पूरी तरह से नष्ट कर लेता है. इस दौरान ग्रह फिर अपने आप में ढह जाता है और अत्यधिक उच्च गुरुत्वाकर्षण बल के साथ एक उच्च घनत्व संरचना बनाता है, जिसे हम ब्लैक होल के रूप में जानते हैं. जब कोई विशाल तारा अपने अंत की ओर पहुंचता है तो वह अपने ही भीतर सिमटने लगता है. धीरे-धीरे वह ब्लैक होल बन जाता है.