जीएनटी स्पेशल में आज बात होगी उस धमाकेदार कहानी की जो सदियों से रौशनी के त्योहार के साथ जुड़ी है. ये कहानी है पटाखों की. वो दौर जब शहरों की हवा और आसमान का रंग साफ हुआ करता थ उस ज़माने में पटाखों के बिना दिवाली की कल्पना भी मुश्किल थी. आपने भी उन दिनों में दिवाली पर पटाखे ज़रूर फोड़ें होंगे या कम से कम पटाखे फोड़ते लोगों को ज़रूर देखा होगा. लेकिन दिवाली पर पटाखे जलाते हुए क्या कभी आपने सोचा कि आखिर ये आए कहां से?