रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनते ही भारत ने बड़ी बाजी मारी है. भारत के मेड इन इंडिया फाइटर जेट तेजस को खरीदने में मलेशिया ने दिलचस्पी दिखाई है. जल्द ही भारत और मलेशिया के बीच ये रक्षा करार हो सकता है. बड़ी बात ये है कि तेजस को ये तवज्जो उसने चीन और रूस के लड़ाकू विमानों से ऊपर रखते हुए दी है. इस डील का फाइनल होना डिफेंस एक्सपोर्ट सेक्टर में भारत के लिए एक ऊंची छलांग साबित होगा. आप अंदाजा लगाइए साल 2014 में भारत का डिफेंस एक्सपोर्ट यानि रक्षा से जुड़ा निर्यात 1,941 करोड़ रुपये था यानि दो हज़ार करोड़ से भी कम लेकिन 2021 में एक्सपोर्ट लगभग पांच गुना बढ़कर 11,607 करोड़ रुपये हो गया. ऐसे में अगर मलेशिया के साथ तेजस की डील पक्की हो जाती है तो ये आंकड़ा रॉकेट की रफ़्तार से आगे बढ़ेगा.
India’s Tejas light combat aircraft has emerged as the top choice for Malaysia as the Southeast Asian nation looks at replacing its ageing fleet of fighter jets.Malaysia has narrowed down on the Indian aircraft notwithstanding the stiff competition from China’s JF-17 jet, South Korea’s FA-50 and Russia’s Mig-35 as well as Yak-130.