कार्यक्रम 'प्रार्थना हो स्वीकार' में जानें कि ज्योतिष शास्त्र के अनुसार हमारी वाणी और व्यवहार का ग्रहों से गहरा संबंध होता है. कैसे सूर्य, चंद्र, बुध, शनि जैसे ग्रह हमारे रिश्तों और स्वभाव को प्रभावित करते हैं? 'ऐसी वाणी बोलिए, मन का आपात होए' - इस सीख के साथ, कार्यक्रम में वाणी को मधुर बनाने, नकारात्मकता, भय और धैर्य की कमी को दूर करने के लिए रुद्राभिषेक, गायत्री मंत्र जाप, हनुमान चालीसा पाठ और ज़रूरतमंदों की मदद जैसे उपाय बताए गए हैं. साथ ही, कर्म और ज़िम्मेदारियों के महत्व पर भी ज़ोर दिया गया है.