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अमरकंटक में है शिव का चमत्कारी धाम, यहां ज्वालेश्वर महादेव करते कल्याण

मध्य प्रदेश के पूर्वी भाग में अनूपपुर जिला स्थित है और जिला मुख्यालय से 60 किलोमीटर दूर स्थित है अमरकंटक. अमरकंटक का बहुत से परंपराओं और किंवदंतियों से संबंध रहा है. यहां कई प्राचीन शिव मंदिर हैं. इन्हीं में से एक है अमरकंटक से 10 किलोमीटर दूर मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ की सीमा पर स्थित ज्वालेश्वर महादेव मंदिर. कहा जाता है कि भगवान शिव ने स्वयं इस मंदिर को स्थापित किया था. पुराणों में इस स्थान को महा रूद्र मेरु कहा गया है. यहीं से अमरकंटक की तीसरी नदी जोहिला की उत्पत्ति होती है. इसलिए ज्वालेश्वर महादेव मंदिर की बहुत अधिक मान्यता है.

Anuppur district is situated in the eastern part of Madhya Pradesh and is situated 60 km away from the district headquarter Amarkantak. Amarkantak is associated with many traditions and legends. There are many ancient Shiva temples here. One of these is the Jwaleshwar Mahadev Temple located on the border of Madhya Pradesh and Chhattisgarh, 10 km from Amarkantak. It is said that Lord Shiva himself established this temple. In the Puranas, this place has been called Maha Rudra Meru. From here, the third river Johila of Amarkantak originates. That is why the Jwaleshwar Mahadev temple has a lot of recognition.