Mahakumbh 2025: इस बार का महाकुंभ सबसे अलग सबसे बड़ा और सबसे हाईटेक होने जा रहा है.. इस बार महाकुंभ AI यानी Artificial intelligence तकनीक से जोड़ा जा रहा है...उत्तर प्रदेश सरकार ने 40 करोड़ श्रद्धालुओं के आने का अनुमान लगाया है...लिहाजा इतनी बड़ी संख्या में आने वाले यात्रियों के लिए प्रयागराज में हर सुविधा और व्यवस्था को देने की कोशिश की जा रही है..
मुंबई में समंदर की उफनती लहरों में हिचखोले खा रही जिंदगियों को बचाने के लिए रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया गया. दरअसल, मुंबई में गेटवे ऑफ इंडिया से एलिफेंटा जाते वक्त एक स्पीड बोट यात्रियों से भरी दूसरी बोट से टकरा गई..और इस हादसे में 115 लोगों को समंदर से बचाया लिया गया जबकि 13 लोगों की मौत हो गई है.. उफनती लहरों के बीच रेस्क्यू करने सबसे बड़ी चुनौती थी... लेकिन रेस्क्यू में जुटे जवानों ने अपनी जान की परवाह किये बिना लोगों को सुरक्षित बचाया और उन्हें गेट वे ऑफ इंडिया तक पहुंचाया गया.
Mahakumbh 2025: महाकुंभ के शुभारंभ में भले 25 दिन बाकी हो...लेकिन संगम की रेती पर महाकुंभ की भव्यता ने आकार ले लिया है. साधु संत यहां पहुंचने लगे हैं और तमाम अखाड़ों का प्रवेश भी यहां हो चुका है. इस बार कुंभ कई मायनों में खास होने जा रहा है. यहां इस बार ना केवल सनातन परंपरा की गौरवमयी झलक दिखने वाली है... बल्कि नए भारत का संकल्प भी इस बार महाकुंभ से गूंजने वाला है.
उत्तर भारत में मौसम ने लोगों के लिए चुनौती बढ़ा दी है. एक तरफ पारा डाउन हो रहा है...तो वहीं प्रदूषण फिर से लौट आया है. राजधानी दिल्ली में एक बार प्रदूषण गंभीर श्रेणी में पहुंच गया है. दिल्ली की इन तस्वीरों से अंदाजा लगाया जा सकता है कि राजधानी इस वक्त दोहरी मार झेल रही है. जहां एक तरफ ठंड बढ़ रही है तो वहीं दूसरी तरफ राजधानी में प्रदूषण का स्तर भी बढ़ता जा रहा है.
महाकुंभ की शुरुआत में भले ही अभी लगभग एक महीना है, लेकिन 14 दिसंबर को महाकुंभ की पहली पेशवाई प्रयागराज की सड़कों पर निकली... सनातन का प्रतीक माने जाने वाले अखाडों का मेला क्षेत्र में दाखिल होने का सिलसिला अब शुरु हो चुका है..सबसे पहले जूना अखाड़े की पेशवाई मेला क्षेत्र में दाखिल हुई. जूना अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर अवधेशानंद गिरी की अगुवाई में जूना अखाड़े की ये पेशवाई पूरी शक्ति और वैभव के साथ निकली.
PM Modi in Prayagraj: संगम नगरी में जहां आज से ठीक एक महीने बाद यानि 13 जनवरी को महाकुंभ का आगाज होगा.. आज से ठीक एक महीने बाद संगम नगरी का नजारा एकदम भव्य दिव्य होने वाला है. देश और दुनियाभर से साधु संतों से लेकर करोड़ो श्रद्धालु महाकुंभ में पहुंचने वाला है.. लिहाजा महाकुंभ की महातैयारी चल रही है.. और आधे से ज्यादा काम प्रयागराज में पूरा हो चुका है.. जिसका उद्घाटन खुद पीएम मोदी आज करने के लिए प्रयागराज पहुंच रहे हैं.
PM Modi in Prayagraj: महाकुंभ के लिए संगम नगरी तैयार हो रही है. कल इसी संगम नगरी से पीएम मोदी का साक्षात्कार होगा. संगम की रेती पर अस्थायी तौर पर बसने वाले महाकुंभ नगर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चार घंटे तक रहेंगे..इस दौरान वो लोगों को कुंभ नगरी आने की न्यौता देंगे. संतों से बात करेंगे..पीएम मोदी के साथ संवाद के लिए हर अखाड़े से दो-दो संतों को चुना गया है. अखाड़ों के अलावा आचार्यवाड़ा, दंडीवाड़ा और खाक चौक के भी संत इसमें पीएम से मीटिंग में शामिल होंगे.
Gita Jayanti 2024: आज गीता जयंती है. दरअसल, भगवत गीता ही दुनिया का अकेला ऐसा ग्रंथ है. जिसकी जयंती मनाई जाती है. इस ग्रंथ को जीवन का सार कहते हैं. गीता मानवीय संवेदना के परिष्कार का अनुपम ग्रंथ है. गीता की बातें इंसान को सही तरह से जीवन जीने का रास्ता दिखाती हैं. गीता के उपदेश हमें धर्म के मार्ग पर चलते हुए अच्छे कर्म करने की शिक्षा देते हैं. गीता में सनातन समाज के लिए ही नहीं बल्कि विश्व मानवता के शुभ के लिए संदेश छिपा है. आज गीता जयंती पर इन्हीं पहलुओ को समझने की कोशिश करेंगे.
दुनिया की नजरें सीरिया पर हैं. बशर अल असद के देश छोड़कर भागने के बाद अब विद्रोहियों का कब्जा है...ऐसे विद्रोहियों ने उन जेलों के ताले खोल दिए हैं. जहां ज्यादातर असद के विरोधियों को कैद किया गया था. ऐसी ही एक जेल सैदनाया जेल है...जिसे खोल दिया गया है. यहां की तस्वीरें देखकर दुनिया दंग है.. सीरिया में हालात बदलने के बाद सीरिया के शरणार्थियों के वतन वापसी की राह खुलती दिख रही है.
Snowfall 2024: उत्तर भारत के तमाम शहर ठंड के एहसास से गुजर रहे है. कल बारिश के बाद मौसम ने करवट ली है. कई इलाकों में बारिश के बाद पारा डाउन हुआ है. मौसम विभाग की मानें तो 10 दिसंबर के बाद शीत लहर अपना असर दिखाना शुरु कर सकती है. एक तरफ मैदानों में ठंड है...तो उधर पहाड़ों पर जमकर बर्फ गिर रही है...क्या कश्मीर...क्या उत्तराखंड...और क्या हिमाचल. इन जगहों के पहाड़ बर्फ की सफेदी से ढक गए हैं...कश्मीर में तो इतनी बर्फबारी हुई है कि कई जगहों पर लोगों को रेस्क्यू तक करना पड़ा है.
आज जनकपुर माता सीता और श्री राम के विवाह के लिए सजकर तैयार है. हर तरफ मंगल गीतों की गूंज सुनाई दे रही है. बारात के स्वागत के लिए जनकपुर में भव्य तैयारियां की जा रही हैं. जनकपुर नगरी दुल्हन की तरह सजा गई है. हर साल मार्गशीर्ष महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी पर ये उत्सव मनाया आता है...इसी दिन मात सीता और श्री राम शादी के बंधंन में बंधते हैं.