वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) के फाइनल मुकाबले से पहले इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (आईसीसी) ने अपने कुछ नियमों में बदलाव कर दिए हैं. आईसीसी ने मैदानी अंपायरों द्वारा दिए जाने वाले सॉफ्ट सिग्नल को खत्म कर दिया है. यानी अब थर्ड अंपायर ही तय करेगा कि फील्डर ने कैच सही तरह से पकड़ा है या नहीं. सॉफ्ट सिग्नल की कई बार आलोचना हो चुकी है. इसके अलावा फ्री हिट पर अगर गेंद स्टंप पर लगती है तो बल्लेबाज को रन लेने की अनुमति होगी. अब तीन कंडीशंस में फील्डर्स, विकेटकीपर और बैटर्स को हेलमेट पहनना भी जरूरी होगा.
क्या है सॉफ्ट सिग्नल
सॉफ्ट सिग्नल का उपयोग जमीन से कुछ इंच ऊपर लिए गए कैच की वैधता को निर्धारित करने के लिए किया जाता रहा है क्योंकि इस तरह के कैच का सही अनुमान खुली आंखों से नहीं लगाया जा सकता. अभी तक मैदानी अंपायर अपने अनुमान के आधार पर आउट या नॉट आउट का संकेत देते थे, जिसे सॉफ्ट सिग्नल कहा जाता है. अधिकतर मामलों में टीवी फुटेज से कैच का सही अनुमान लगाना मुश्किल हो जाता था और ऐसे में तीसरा अंपायर सॉफ्ट सिग्नल के आधार पर अपना फैसला देता है.
समिति ने की थी सिफारिश
पूर्व भारतीय कप्तान सौरव गांगुली की अध्यक्षता वाली पुरुष क्रिकेट समिति और महिला क्रिकेट समिति की सिफारिशों को मंजूरी मिलने के बाद आईसीसी ने खेल की परिस्थितियों में बदलाव की घोषणा की. सौरव गांगुली ने कहा कि पिछले दो वर्षों में क्रिकेट समिति की बैठकों में सॉफ्ट सिग्नल को लेकर चर्चा होती रही है. समिति ने लंबी चर्चा की और इस नतीजे पर पहुंची कि सॉफ्ट सिग्नल अनावश्यक है और कई बार भ्रम की स्थिति पैदा करता है क्योंकि हो सकता है कि रीप्ले में कैच का सही अनुमान न लग सके.
इन परिस्थितियों में हेलमेट पहनना होगा अनिवार्य
अन्य बड़े बदलाव में ज्यादा जोखिम वाले जगहों पर फील्डिंग के दौरान हेलमेट को अनिवार्य करना भी शामिल है. जब बल्लेबाज तेज गेंदबाजों का सामना करेगा तो हेलमेट लगाना अनिवार्य होगा. इसके अलावा जब विकेटकीपर स्टंप के करीब खड़ा होगा तो हेलमेट लगाना ही होगा. इसके अलावा जब कोई फील्डर बल्लेबाज के सामने खड़ा होगा तो हेलमेट पहनना होगा.
फ्री हिट के नियम में बदलाव
फ्री हिट नियम में भी बदलाव किया गया है. जब गेंद स्टंप से टकराती है तो फ्री हिट पर बनाए गए किसी भी रन को अब से बनाए गए रन के रूप में गिना जाएगा. इसका मतलब यह होगा कि बल्लेबाज अगर फ्री हिट पर बोल्ड भी होता है तो वह रन ले सकता है. आईसीसी द्वारा सभी नए बदलाव एक जून 2023 से लागू होंगे. ऐसे में इंग्लैंड और आयरलैंड के बीच लॉर्ड्स टेस्ट में पहली इन नियमों को आजमाया जाएगा. यह चार दिवसीय टेस्ट मैच होगा. भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच 7 जून 2023 से शुरू होने वाले विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल में भी इन नियमों का इस्तेमाल किया जाएगा.