
साल 2025 में पैदा होने वाले बच्चों को नई जनरेशन के नाम से जाना जाएगा.यह नाम जनरेशन बीटा होगा. जनरेशन बीटा उस पीढ़ी को कहा जाएगा, जिन बच्चों का जन्म 2025 से 2039 के बीच होगा. दिलचस्प बात यह है कि जेन अल्फा के कुछ लोग 22वीं सदी भी देख सकेंगे. अबतक 2010 से 2024 के बीच जन्म लेने वाले बच्चों को जेन अल्फ़ा कहा जा रहा था. वहीं 1996 से 2010 के बीच पैदा हुए बच्चों को जेन जी कहा जाता है. जबकि 1987 से 1996 तक की जनरेशन को मिलेनियल्स कहा जाता है.
इंडिया टुडे की एक रिपोर्ट के अनुसार, डॉ. ओट्टा का मानना है कि जेन बीटा टोक्नोलॉजी में महत्वपूर्ण प्रगति के दौरान बड़े होंगे. वे छोटी उम्र से ही अपने सीखने के अनुभव को पर्सनलाइज्ड करने के लिए एआई एप्लिकेशन्स का उपयोग भी कर सकते हैं. यह ध्यान देने वाली बात है कि जेन बीटा को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा जैसे बिगड़ती पर्यावरणीय स्थिति, प्रौद्योगिकी में प्रगति के साथ साइबर अपराध का बढ़ता जोखिम, इत्यादि.
750 बिलियन डॉलर हो जाएगा AI मार्केट
साल 2025 में आर्टिफ़िशियल इंटेलीजेंस को लेकर भी दुनिया की नज़र रहेगी. एक रिपोर्ट में अनुमान है कि 2025 में दुनियाभर में एआई मार्केट क़रीब 750 बिलियन डॉलर हो जाएगा. 2024 में ये क़रीब 640 करोड़ रहने की उम्मीद है यानी 2025 में ये 110 करोड़ डॉलर से ज़्यादा हो सकता है.
वॉट्सऐप साल 2025 से पुराने एंड्रॉयड फ़ोन का सपोर्ट ख़त्म कर देगा. इसकी वजह से किटकैट या उससे पुराने वर्जन वाले एंड्रॉयड फ़ोन पर वॉट्सऐप काम नहीं करेंगे. इनमें सैमसंग गैलेक्सी एस3 और एलजी नेक्सस 4 समेत कई फ़ोन शामिल हैं.