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गुलजार साहब एक शायर, कवि, गीतकार, राइटर, डायरेक्टर और प्रोड्यूसर हैं. गुलजार साहब ने हिंदी साहित्य से लेकर बॉलीवुड में एक अलग पहचान बनाई है.
गुलजार साहब का जन्म 18 अगस्त 1934 को पंजाब के झेलम में हुआ था जो अब पाकिस्तान में है. गुलजार साहब का असली नाम संपूर्ण सिंह कालरा है.
साल 1947 में बंटवारे के बाद गुलजार सिंह का पूरा परिवार हिन्दुस्तान के अमृतसर में आकर बस गया. दिल्ली में पढ़ाई करने के बाद गुलजार साहब मुंबई चले गए.
गुलजार साहब को कई सम्मान मिल चुके हैं. गुलजार साहब के नाम 5 नेशनल अवॉर्ड, 22 फिल्मफेयर अवॉर्ड और साहित्य अकादमी अवॉर्ड है. गुलजार साहब को जय हो गाने के लिए ग्रैमी अवॉर्ड भी मिल चुका है.
गुलजार साहब को पद्मश्री और दादा साहेब फाल्के अवार्ड से सम्मानित किया जा चुका है. गुलजार साहब ने कई शानदार किताबें लिखीं हैं. गुलजार साहब की इन किताबों को एक बार जरूर पढ़ना चाहिए.
1. ए पोएम ए डे गुलजार साहब की 'ए पोएम ए डे' एक कविता संग्रह है. गुलजार साहब ने इस बुक में 34 भाषाओं के 270 कवियों की कविताओं को अनुवादित करके छापा है. ए पोएम ए डे में 365 कविताएं हैं.
2. दो लोग दो लोग गुलजार साहब का नोबेल है. दो लोग किताब में लेखक गुलजार साहब ने बंटवारे का दर्द बयां किया है. गुलजार साहब ने इस किताब को बेहद शानदार तरीके से लिखा है.
3. आंधी आंधी को हिंदी में तूफान कहा जाता है. साल 1975 में गुलजार साहब की तूफान मूवी आई थी. तूफान मूवी की स्क्रिप्ट को गुलजार साहब ने इस किताब में उतारा है. गुलजार साहब ने बेहद रोचक तरीके से इस किताब को लिखा है.
4. बाग़वान बाग़वान द गार्डनर कविता के दो दिग्गज रवीन्द्रनाथ टैगोर और गुलजार को एक साथ पढ़ने का एक अनूठा नमूना है. इस किताब में रविन्द्रनाथ टैगोर के फेमस कविता संग्रह को गुलजार साहब ने ट्रांसलेट कर इस किताब में छापा है.
5. मैंने चांद निगल लिया गुलजार साहब पर दूसरे लेखकों ने कुछ किताबें लिखीं हैं. इनमें मैंने चांद निगल लिया और जीरो लाइन के पार किताब शामिल है. इन किताबों को भी जरूर पढ़ना चाहिए.