अगर फायदे की बात करें तो मीट में प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेट, विटामिन और मिनरल्स बेहतर मात्रा में पाए जाते हैं, जो इम्यून सिस्टम को मजबूत करने में मदद करता है.
वहीं नुकसान अगर देखें तो कोलेस्ट्रॉल की समस्या और हृदय रोग तो काफी सामान्य है बल्कि कोलोरेक्टल कैंसर जैसी गंभीर बीमारी का भी खतरा बढ़ जाता है.
बावजूद इतने गंभीर नुकसान के भारत में नॉनवेज का क्रेज पिछले कुछ सालों में बढ़ा है.
कोई व्यक्ति शाकाहारी है या मांसाहारी यह उसका निजी फैसला है लेकिन लोगों में इस बात की उत्सुकता है कि आखिर भारत में किस धर्म के लोग सबसे ज्यादा नॉनवेज का सेवन करते हैं.
सर्वे के अनुसार देश में हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई, यहां तक कि जैन धर्म में भी नॉनवेज खाने वालों की संख्या बढ़ी है.
जैन धर्म
साल 2015-16 के बीच जैन धर्म के 7.29 फीसदी लोग नॉनवेज खाते थे. लेकिन इस आंकड़ें में दोगुनी वृद्धि हुई और संख्या 14.9 प्रतिशत पर जा पहुंची.
सिख धर्म में पिछले 6 सालों में नॉनवेज खाने वालों की संख्या बढ़ी है. साल 2015-16 के बीच 54.74 प्रतिशत लोग नॉनवेज खाते थे. अब ये आंकड़ा बढ़कर करीब 56.84 प्रतिशत हो गया है.
सिख धर्म
ईसाई धर्म में मांसाहारी लोगों की संख्या पहले से ही ज्यादा रही है लेकिन समय के साथ इसमें और बढ़ोतरी हुई है. हालांकि ये बढ़ोतरी मामूली है. पहले जहां 97.03 प्रतिशत लोग नॉनवेज खाते थे वहीं अब 97.64 फीसदी लोग मांसाहारी हैं.
ईसाई धर्म
6 साल पहले हिंदू धर्म में करीब 73 प्रतिशत लोग ऐसे थे जो मांसहारी थे. लेकिन अब नॉनवेज खाने वालों की संख्या 4 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ 77.95 प्रतिशत हो गई है.
हिंदू धर्म
मुस्लिम धर्म में नॉनवेज खाने वालों की संख्या साल 2015-16 के बीच 97.66 प्रतिशत थी. जो कि अब बढ़कर 97.96 हो गई है.
मुस्लिम धर्म
आंकड़ों से साफ है कि जैन धर्म में जहां सबसे कम तो मुस्लिम धर्म में सबसे ज्यादा लोग मांसाहारी हैं.