इस दौरान आयरन, विटामिन व पोष्टिक आहार लेना चाहिए ताकि बच्चे को अच्छा पोष्ण मिल सके.
इस दौरान डॉक्टर्स आयरन के साथ-साथ प्रोटीन का भी सेवन करने की सलाह देने हैं.
उनका कहना होता है कि आहार में प्रोटीन की मात्रा पर्याप्ता होनी चाहिए. लेकिन इसके पीछे की वजह क्या है.
प्रोटीन गर्भ में बच्चे के विकास के लिए आवश्यक है. इसकी कमी से बच्चे का वजन कम हो सकता है और विकास बाधित हो सकता है.
गर्भवती महिला में प्रोटीन की कमी से मांसपेशियों की ताकत में कमी आ सकती है, जिससे थकान और कमजोरी महसूस हो सकती है.
प्रोटीन की कमी से इम्यून सिस्टम कमजोर हो सकता है, जिससे संक्रमण का खतरा बढ़ सकता है.
प्रोटीन हॉर्मोन उत्पादन में भी मदद करता है. इसकी कमी से हॉर्मोनल असंतुलन हो सकता है, जो गर्भावस्था को प्रभावित कर सकता है.