बच्चों की बुद्धि और ज्ञान बढ़ाते हैं ये पांच मंत्र 

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सनातन धर्म में कुछ जीवन जीने के नियम हैं जिनका पालन अगर सही से किया जाए तो आपको सफल होने से कोई नहीं रोक सकता है. 

जैसे हर दिन सुबह सूरज भगवान को जल देने से यश बढ़ता है, वैसे ही मंत्र जाप से भी काम बनते हैं.

बहुत से ऐसे मंत्र हैं जिनके जाप से ज्ञान और बुद्धि बढ़ती है और साथ ही एकाग्रता आती है. 

आपके अपने बच्चों को ये मंत्र जरूर सिखाने चाहिए और हर रोज उनसे जाप करने के लिए कहना चाहिए.

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सरस्वती मंत्र या देवी सर्वभूतेषु, विद्या रूपेण संस्थिता, नमस्तस्ये नमस्तस्ये नमस्तस्ये नमो नमः. इस मंत्र से बच्चों में सीखने, कला, और बौद्धिक गतिविधियों के प्रति प्रशंसा विकसित होती है. 

गायत्री मंत्र ॐ भूर्भुव: स्व: तत्सवितुर्वरेण्यं भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो न: प्रचोदयात्. स्मरण शक्ति और एकाग्रता को बढ़ाने के लिए गायत्री मंत्र का पाठ करना चाहिए.

धन, विद्या और विष्णु कृपा का मंत्र कराग्रे वसते लक्ष्मीः करमध्ये सरस्वती। करमूले तु गोविन्दः प्रभाते करदर्शनम॥ इस मंत्र को सुबह उठने पर पढ़ना चाहिए. 

त्रिदेव, नवग्रह मंत्र ह मंत्र ब्रह्मा मुरारी त्रिपुरान्तकारी भानु शशि भूमि-सुतो बुधश्च। गुरुश्च शुक्र शनि राहु केतव: सर्वे ग्रहा शांति करा भवंतु। इस मंत्र में ब्रह्मा, विष्णु, शिव जी की वंदना के साथ सभी नवग्रह की शांति के बारे में कहा गया है.

आदिशक्ति मंत्र सर्वमंगल मांगल्ये शिवे सवार्थसाधिके। शरण्ये त्र्यंबके गौरी नारायणी नमोस्तुते।। यह आदिशक्ति मां जगदंबा का मंत्र है. इसको पढ़ने से जीवन में खुशहाली, सुख और शांति आती है.