दुनिया अनगिनत बार प्राकृतिक आपदाओं की चपेट में आ चुकी है.
लेकिन इस लिस्ट में सबसे ऊपर 536 ईस्वी आती है.
ये वो साल था जब सूर्य काला पड़ गया था.
इतिहासकारों के मुताबिक, ये साल जिंदा रहने के लिए सबसे खराब साल था.
इस अकाल ने यूरोप को तीन साल तक जकड़े रखा. हम नहीं जानते इसमें कितने लोगों की मौत हुई.
इतिहासकार माइकल मैककोर्मिक लिखते हैं कि 536 यूरोप का सबसे खराब साल तो नहीं लेकिन सबसे भयानक युगों में से एक था.
इस दौरान एक भयानक कोहरे ने यूरोप, मध्य पूर्व और एशिया के कुछ हिस्सों में गहरा अंधेरा छा दिया था.
ऐसा 18 महीनों तक रहा. 536 की गर्मियों में, तापमान 1.5 से 2.5 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया था.
इसके अलावा, इसी साल असाधारण घटनाएं हुई थीं. जिसमें चीन में गर्मियों में बर्फबारी, फसल खराब होना और अकाल शामिल हैं.
इसके बाद फिर, 541 में, मिस्र में पेलुसियम का रोमन बंदरगाह बुबोनिक प्लेग की चपेट में आ गया, जिसे बाद में प्लेग ऑफ जस्टिनियन के नाम से जाना गया.
मैककॉर्मिक के आकलन के अनुसार, यह घातक बीमारी तेजी से फैली, जिससे पूर्वी रोमन साम्राज्य की एक तिहाई से आधी आबादी को खत्म कर दिया.
इतिहासकारों का मानना है कि छठी शताब्दी का मध्य एक अंधकारमय काल था जिसे अंधकार युग कहा जाता था.