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Imran Khan: तोशाखाना मामले में पाकिस्तान के पूर्व पीएम इमरान खान को 3 साल की सजा, पुलिस ने किया अरेस्ट, 5 वर्ष तक नहीं लड़ सकेंगे चुनाव

Imran Khan Arrested: इमरान खान पर 2018 से 2022 के बीच सरकारी उपहारों को बेचकर पैसा बनाने का आरोप था. ये उपहार इमरान को विदेश यात्रा के दौरान प्राप्त हुए थे. पाकिस्तान के कानून के मुताबिक इन उपहारों को स्टेट डिपॉजिटरी (तोशाखाना) में रखना होता है. 

Imran Khan (file photo) Imran Khan (file photo)
हाइलाइट्स
  • ऊपरी अदालतों में अपील करने का मौका

  • इससे पहले 9 मार्च को भी किया गया था गिरफ्तार 

पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान तोशाखाना मामले में दोषी ठहराए गए हैं. इस्लामाबाद की जिला एवं सत्र अदालत ने इमरान को तीन साल जेल की सजा सुनाई है. इसके साथ एक लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है. इस आदेश के बाद इमरान खान को लाहौर के जमान पार्क वाले घर से गिरफ्तार कर लिया गया है. तीन साल की सजा होने के बाद इमरान खान 5 साल के लिए चुनाव लड़ने से अयोग्य भी हो गए हैं.

लाहौर उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया
तोशाखाना मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद ट्रायल कोर्ट के जज ने पूर्व पीएम इमरान खान के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी कर दिया. इस सजा के खिलाफ पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के अध्यक्ष इमरान के पास ऊपरी अदालतों में अपील करने का मौका है. इमरान खान की गिरफ्तारी के खिलाफ पीटीआई लाहौर हाईकोर्ट में याचिका दायर करेगी. तहरीक-ए-इंसाफ के अध्यक्ष ने लाहौर उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया. तहरीक-ए-इंसाफ के नेता उमर खान नियाजी की ओर से लाहौर हाईकोर्ट में अर्जी दाखिल की गई. दायर याचिका में आईजी पाकिस्तान के पंजाब, सीसीपीओ लाहौर और अन्य को पक्षकार बनाया गया है. याचिका में कहा गया है कि इमरान खान को पुलिस ने अवैध तरीके से हिरासत में लिया था. साथ ही कहा कि इमरान खान का अपहरण किया गया है.

पक्षपातपूर्ण फैसले का लगाया आरोप
पीटीआई ने जज हुमायूं दिलावर पर पक्षपातपूर्ण फैसला देने का आरोप लगाया. पीटीआई का कहना है कि पक्षपाती और नैतिक रूप से भ्रष्ट न्यायाधीश के हाथों न्याय की हत्या करने का प्रयास किया गया है. पार्टी प्रवक्ता का कहना है कि तोशाखाना मामले ने न्याय व्यवस्था के माथे पर एक और काला धब्बा लगा दिया है. पक्षपाती जज की ओर से इतिहास के सबसे बेतुके तरीके से मुकदमा चलाया गया.

पाकिस्तान में हिंसा की आशंका गहराई
इससे पहले भी 9 मार्च को इमरान खान को इस्लामाबाद हाईकोर्ट के अंदर से भ्रष्टाचार के एक मामले में गिरफ्तार किया गया था. तब पूरे पाकिस्तान में इमरान खान के समर्थकों ने जबरदस्त हिंसा की थी. इमरान खान के एक समर्थक ने कहा कि इस्लामाबाद की एक अदालत द्वारा राजनीतिक मामले (तोशाखाना केस) में इमरान खान को तीन साल की सजा सुनाने का फैसला बेहद निंदनीय है. कोई साक्ष्य नहीं है. अत्यंत पक्षपातपूर्ण निर्णय. पाकिस्तान में अदालतें शक्तिशाली सेना के अत्यधिक दबाव में काम कर रही हैं.

क्या है तोशाखाना मामला
पाकिस्तान के कानून के अनुसार किसी विदेशी राज्य के गणमान्य व्यक्तियों से प्राप्त कोई भी उपहार स्टेट डिपॉजिटरी यानी तोशाखाना में रखना होता है. यदि राज्य का मुखिया उपहार को अपने पास रखना चाहता है तो उसके लिए उसे इसके मूल्य के बराबर राशि का भुगतान करना होगा. यह एक नीलामी की प्रक्रिया के जरिए तय किया जाता है. ये उपहार या तो तोशाखाना में जमा रहते हैं या नीलाम किए जा सकते हैं और इसके माध्यम से अर्जित धन को राष्ट्रीय खजाने में जमा किया जाता है.
 
उपहार को लाभ के लिए बेचने का है आरोप
पीटीआई के प्रमुख खान पर प्रधानमंत्री रहते हुए स्टेट डिपॉजिटरी यानी तोशाखाना से रियायती मूल्य पर प्राप्त एक महंगी ग्राफ कलाई घड़ी सहित अन्य उपहार खरीदने और लाभ के लिए उन्हें बेचने का आरोप है. इमरान खान को आधिकारिक यात्राओं के दौरान करीब 14 करोड़ रुपए के 58 उपहार मिले थे. इन महंगे उपहारों को तोशाखाना में जमा किया गया था. बाद में इमरान खान ने इन्हें तोशाखाना से सस्ते दाम पर खरीद लिया और फिर महंगे दाम पर बाजार में बेच दिया. इस पूरी प्रक्रिया के लिए उन्होंने सरकारी कानून में बदलाव भी किए.
 
5.8 करोड़ रुपए का कमाया मुनाफा 
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, इमरान ने 2.15 करोड़ रुपये में इन उपहारों को तोशाखाना से खरीदा और इन्हें बेचकर 5.8 करोड़ रुपए का मुनाफा कमाया. इन उपहारों में एक ग्राफ घड़ी, कफलिंक का एक जोड़ा, एक महंगा पेन, एक अंगूठी और चार रोलेक्स घड़ियां शामिल थी. बिक्री का विवरण साझा न करने के कारण उन्हें पिछले साल अक्टूबर में पाकिस्तान के चुनाव आयोग (ईसीपी) की ओर से अयोग्य घोषित कर दिया गया था.